poet shire

poetry blog.

Wednesday, April 17, 2019

प्रतिबिम्ब

जब भी देखता हूँ मैं खुद को
इन कविताओं में तुम्हारी,
जिंदगी बड़ी रंगीन सी दिखती है,
ये आयाम है कैसे पैगाम खबर नही
है ये इश्क़ का फ़ितूर या जुनून खबर नही
पर इस बात का गुरुर मुझे है जरूर ।

No comments:

Post a Comment

ads